सूरत के लिंबायत इलाके में टाइल्स के कचरे के गोदाम के पास से एक नवजात भ्रूण मिला था। उस समय इस अपराध को सुलझाने के लिए पुलिस द्वारा जांच शुरू की गई थी और गहराई से जांच करते हुए छत से भ्रूण फेंकने वाली नर्स के सीसीटीवी फुटेज के बाद पूरा मामला सामने आया था। फिलहाल पुलिस ने इस मामले में नर्स को गिरफ्तार कर लिया है और आगे की जांच कर रही है।
सूरत के लिंबायत इलाके के रणछोड़ नगर के पास टाइल्स के कचरे के गोदाम के पास गर्भनाल के साथ एक भ्रूण मिलने से हड़कंप मच गया था। घटना की सूचना मिलने पर पुलिस का काफिला मौके पर पहुंचा था।साथ ही अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ मामला दर्ज कर छानबीन की गयी। जांच के दौरान सीसीटीवी फुटेज सामने आया और जिसमें शिखा अस्पताल की एक महिला को भृण खाडी में फेंका हुआ देखा गया। जिसके चलते पुलिस ने भ्रूण फेंकने वाली अस्पताल की नर्स अंजू यादव को गिरफ्तार कर लिया है।
घटना की जानकारी के अनुसार घटना 18 मार्च की है। नाले से भ्रूण मिलने के बाद पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच में लिया था। जांच के दौरान अंजू यहां पिछले डेढ़ माह से डॉ. वीरेंद्र पटेल के शिखा अस्पताल में महिला नर्स के पद पर कार्यरत थी। महिला जो मूल रूप से महाराष्ट्र की रहने वाली थी और अपने मामा के बेटे के साथ रहकर नर्स का काम सीखा। अधिक अनुभव होने से खुद डीलवरी करना भी जानते थी। फिर गत 17 तारीख को महाराष्ट्र से धजानन्द नाम के एक व्यक्ति का फोन आया और उसने दंपत्ति को गर्भपात के लिए भेज दिया जहां इस नर्स ने महिला को क्लिनिक में गोली और इंजेक्शन देकर दंपती का गर्भपात करा दिया और बाद में भ्रूण को अस्पताल के ऊपर से फेंक दिया था।
इस मामले में पुलिस ने जांच शुरू की और सीसीटीवी फुटेज के आधार पर पुलिस ने महिला नर्स को गिरफ्तार कर लिया पुलिस पूछताछ में पता चला कि उसे कथित तौर पर नाले में फेंक दिया गया था, लेकिन वह नाले में नहीं बल्कि पास के टाइल गोदाम के पास गिरा था। घटना के बाद जब पुलिस आई तो वह भाग गई, लेकिन पुलिस ने उसे पकड़ लिया और सात दिन के रिमांड पर ले लिया। इसके अलावा यहां ओबशन के लिए आए जोड़े की भी जांच की जा रही है।