
नई दिल्ली/गुजरात : आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल आगामी 31 अक्टूबर को सरदार बल्लभ भाई पटेल की 150वीं जयंती पर गुजरात में भाजपा सरकार द्वारा किए जा रहे किसानों पर दमन के खिलाफ महापंचायत कर उनकी आवाज बुलंद करेंगे। सुरेंद्रनगर जिले के लिमडी विधानसभा में होने वाली पंचायत के पंजाब के सीएम भगवंत मान भी शामिल होंगे। इस दौरान अरविंद केजरीवाल और भगवंत मान जेल में बंद किसानों के परिवारों से मुलाकात भी करेंगे और किसान आंदोलन की आगे की रणनीति बनाएंगे। रविवार को दिल्ली स्थित “आप” मुख्यालय में प्रेस वार्ता कर पूर्व मंत्री एवं गुजरात के प्रभारी गोपाल राय ने यह जानकारी दी।
गोपाल राय ने कहा कि करदा प्रथा के खिलाफ आंदोलनरत किसानों की मांग पूरी करने के बजाय भाजपा सरकार उन पर लाठियां चला रही है, फर्जी केस में उन्हें जेल में बंद कर रही है। भाजपा सोच रही है कि मंत्रीमंडल में बदलाव कर गुजरात के लोगों की आंख में धूल लेगी तो ऐसा नहीं होने वाला है। किसानों ने संकल्प लिया है कि जब तक करदा प्रथा खत्म नहीं होगी और एमएसपी पर खरीद की गारंटी नहीं मिलेगी, तब तक आंदोलन जारी रहेगा।
गोपाल राय ने कहा कि गुजरात में करदा प्रथा के तहत मंडियों में किसानों का शोषण जारी है। इस शोषणकारी प्रथा के खिलाफ 10 अक्टूबर से गुजरात के किसान आंदोलन कर रहे हैं। लेकिन गुजरात की भाजपा सरकार उनकी मांगों को पूरा करने के बजाय लाठियों, आंसू गैस, फर्जी एफआईआर और जेल में बंद करके उनकी आवाज दबाने की कोशिश करना चाहती है। मंत्रिमंडल में फेरबदल और विस्तार कर लोगों की आंखों में धूल झोंकना चाहती है, लेकिन ऐसा नहीं होने वाला है।
उन्होंने कहा कि 31 अक्टूबर को सरदार वल्लभ भाई पटेल की 150वीं जयंती पर, आम आदमी पार्टी गुजरात के सुरेंद्रनगर जिले के सुदामड़ा गांव, लिमड़ी विधानसभा में किसान महापंचायत आयोजित करेगी। इस महापंचायत में गुजरात की 400 मंडियों के प्रतिनिधि शामिल होंगे। “आप” के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान इसे संबोधित करेंगे और आंदोलन की आगे की रणनीति तय करेंगे।
गोपाल राय ने बताया कि 10 अक्टूबर को बोटाद जिले की मंडी में किसानों ने करदा प्रथा खत्म करने की मांग की, लेकिन मंडी प्रशासन ने उनकी नहीं सुनी। शांतिपूर्ण धरने पर बैठे किसानों और “आप” किसान नेता राजूभाई करपड़ा सहित कई लोगों को रात 3 बजे गिरफ्तार कर लिया गया। मंडी बंद कर दी गई। 12 अक्टूबर को बोटाद मंडी में किसान महापंचायत का ऐलान हुआ, लेकिन मंडी को छावनी में बदल दिया गया। “आप” के गुजरात प्रदेश अध्यक्ष इसुदान गढ़वी, युवा अध्यक्ष बृजराज सोलंकी, महिला अध्यक्ष रेशमा पटेल, और महामंत्री सागर रबारी सहित कई नेताओं को गिरफ्तार या हाउस अरेस्ट कर लिया गया।
गोपाल राय ने बताया कि जब मंडी में पंचायत नहीं हो सकी, तो बोटाद से 3-4 किमी दूर हड़धड़ गांव में किसानों ने शाम 6 बजे बैठक बुलाई। लेकिन गुजरात के गृह मंत्री हर्ष सिंघवी के आदेश पर गांव को घेर लिया गया। सभा के दौरान पीछे से पत्थर फेंके गए, लाठियां चलाई गईं, आंसू गैस के गोले दागे गए, घरों के दरवाजे तोड़कर महिलाओं और बुजुर्गों को बेइज्जत किया गया और 69 लोगों को जेल में डाल दिया गया। ये लोग आज भी जेल में हैं और उनकी दिवाली जेल में मनाई गई।
गोपाल राय ने कहा कि 13 अक्टूबर को इस दमन के खिलाफ गुजरात में काला दिवस मनाया गया। 15 अक्टूबर को “आप” ने विधायक हेमंत खवा, सागर रबारी और राजू सोलंकी के नेतृत्व में वकीलों की टीम भेजकर गिरफ्तार लोगों के परिवारों से मुलाकात की और उनकी कानूनी लड़ाई की जिम्मेदारी ली। 16 अक्टूबर को राजूभाई करपड़ा और प्रवीण राम ने करदा प्रथा के खिलाफ अहमदाबाद में “आप” कार्यालय पर आमरण अनशन की घोषणा की, लेकिन उन्हें रास्ते में ही गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया। उसी दिन तालुका पंचायत कारोबारी समिति के अध्यक्ष सुमित पवार ने दमन के विरोध में इस्तीफा दे दिया। 17 अक्टूबर को सभी जिलों से डीएम के माध्यम से राज्यपाल को विरोध पत्र भेजे गए। 20 अक्टूबर को जेल में बंद 69 लोगों के समर्थन में गुजरात के परिवारों ने दीया जलाकर आंदोलन का समर्थन किया।
गोपाल राय ने कहा कि 31 अक्टूबर की किसान महापंचायत में अरविंद केजरीवाल और भगवंत मान जेल में बंद किसानों के परिवारों से मिलेंगे और आंदोलन की रणनीति बनाएंगे।
गोपाल राय ने कहा कि “आप” किसी भी कीमत पर किसानों, पशुपालकों, और आदिवासियों पर अत्याचार बर्दाश्त नहीं करेगी। उन्होंने चैतर वसावा का उदाहरण दिया, जिन्हें आदिवासियों की आवाज उठाने के लिए तीन महीने जेल में रखा गया। आम आदमी पार्टी के नेता आखिरी सांस तक किसानों और पशुपालकों के हक के लिए लड़ेंगे। 31 अक्टूबर की महापंचायत, सरदार वल्लभ भाई पटेल की 150वीं जयंती पर, खेड़ा सत्याग्रह की भावना को आगे बढ़ाएगी और किसान आंदोलन को निर्णायक मोड़ देगी।



