अगले शुक्रवार को जब राज्य सरकार का बजट पेश किया जाएगा तो कपड़ा उद्योग को सरकार से कुछ उम्मीदें हैं। सूरत के उद्योगपतियों को उम्मीद है कि महाराष्ट्र सरकार और मध्य प्रदेश सरकार ने कपड़ा उद्योग को बढ़ावा देने के लिए जो नीति घोषित की है। ऐसे में गुजरात सरकार को भी नीति बनानी चाहिए और उद्योगपतियों को प्रोत्साहन देना चाहिए।
कपड़ा उद्यमियो का कहना है कि सूरत में गारमेंट सेक्टर तेजी से बढ़ रहा है। इसे बढ़ावा देने के लिए गारमेंट पॉलिसी 2017 लाई गई,लेकिन वह 2022 में खत्म हो गई। गारमेंट सेक्टर के विकास के लिए भी नीति घोषित की जाए। इसके अलावा, सूरत और पूरे राज्य में बड़ी संख्या में एमएसएई उद्यमी हैं। कोरोना के कारण बड़ी संख्या में उद्यमी आर्थिक तंगी से गुजर रहे हैं।
उन्हें राहत देने के लिए योजना घोषित करनी चाहिए और नया निवेश करने वालों के लिए कैपिटल सब्सिडी देने का प्रावधान करना चाहिए अन्य राज्यों में व्यापार और विकास के लिए नई नई योजनाएं घोषित की जा रही है। महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश सरकार ने भी टेस्टाइल के लिए योजना घोषित की है, ऐसी ही घोषणा या पर भी होनी चाहिए।
छोटे उद्यमियों को कैपिटल सब्सिडी दी जानी चाहिए: मयूर गोलवाला
मयूर गोलवाला ने कहा कि कोरोना के बाद अब तक छोटे और मझोले उद्यमियों के लिए मुश्किलों का सिलसिला बना हुआ है। सरकार की ओर से ब्याज सब्सिडी दी जाती है, लेकिन अगर इसके साथ पूंजीगत सब्सिडी भी दी जाए तो छोटे उद्यमियों को बड़ी राहत मिल सकती है। साथ ही बिजली की दरों में भी ढील दी जाए।