सूरत

मिनी लॉकडाउन के विरोध में सडक़ों पर उतरे व्यापारी

कोरोना संक्रमण पर काबू पाने के लिए गुजरात सरकार ने मीनी लॉकडाउन लगाया है। जिससे गरीब और मध्यवर्गीय लोगों की आर्थिक स्थिति दयनीय हो गई है। लोगों का रोजगार बंद होने से लोगों को घर किराया और घर खर्चा चलाना मुश्किल हो गया है। मीनी लॉकडाउन से छोट व्यापारियों की आर्थिक स्थिति खराब होने से दुकानों का खोलने की मांग कर रहे है। गुरूवार को सूरत के पूणा इलाके में छोटे व्यापारी सडक़ों पर उतर गए और विरोध प्रदर्शन करने लगे।

सूरत सहित गुजरात में 18 मई तक जीवनाश्यक दुकानों को छोडक़र सभी दुकानें बंद रखने का निर्णय लिया गया है। सरकार के इस फैसलों को लेकर छोटे व्यापारी खफा है। सूरत के पूणा इलाके में 100 से ज्यादा छोटे व्यापारी सडक़ पर उतर गए और सरकार के फैसला का विरोध जताया। उनका कहना है कि हम कोरोना गाइड लाइन के साथ व्यापार करने को तैयार है, जिससे हमे दुकान खोलने की मंजूरी दी जाए।

कोरोना के चलते छोटे दुकानदारों की हालत खराब हो गई है और दुकान बंद होने के कारण परिवार का गुजारा करना मुश्किल हो गया है। छोटे दुकानदारों की आर्थिक स्थिति खराब होने के कारण बच्चों की फीस, दुकान का किराया, नगरपालिका कर, लाइट बिल और अन्य खर्चों को चलाना मुश्किल हो गया है। व्यापारियों ने मांग की है कि सरकार छोटे व्यापारियों को दुकान खोलने की मंजूरी दे।

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