लमसम टैक्स में जाने के लिए 1.50 करोड़ से कम टर्नओवर वालों को रजिस्ट्रेशन कराना होता है। उसके लिए जीएसटी पोर्टल पर व्यवस्था की गई है। साथ ही जो करदाता 31 मार्च से पहले कर का भुगतान करना चाहते हैं, जो व्यापारी लमसम कर का भुगतान करना चाहते हैं, उन्हें ऑनलाइन पंजीकरण कराना होगा। करीब एक सप्ताह पहले पोर्टल पर यह सुविधा चालू कर दी गई है।
1.50 करोड़ से कम टर्नओवर वाले करदाता हर महीने या हर तीन महीने में रिटर्न फाइल करते हैं। हालांकि कुछ करदाता लमसम जीएसटी का भुगतान करना चाहते हैं। लेकिन पंजीकृत नहीं होने के कारण उन्हें एक साल तक इंतजार करना पड़ता है। इस कारण फरवरी के पहले सप्ताह से जिन करदाताओं को जीएसटी का लमसम टैक्स भरना है, उन्हें जीएसटी नंबर के साथ रजिस्ट्रेशन कराना होगा।
यह पंजीकरण सुविधा पोर्टल पर ही स्थापित की गई है। इससे करदाता भी कार्रवाई होने के बाद अगले वित्तीय वर्ष से लमसम जीएसटी चुका सकेंगे। लमसम GST की सुविधा में करदाता द्वारा किए गए टर्नओवर के 5% की दर से GST का भुगतान करना होता है। साथ ही उन्हें जीएसटी क्रेडिट का लाभ नहीं लेना है, लेकिन इस सुविधा का लाभ उठाने के लिए पंजीकरण प्रक्रिया अनिवार्य करनी होगी।
उल्लेखनीय है कि जीएसटी लागू होने के बाद अब तक इस सुविधा का लाभ उठाने के लिए पंजीकरण की प्रक्रिया मार्च में शुरू हुई थी, जबकि पहली बार यह सुविधा फरवरी के पहले सप्ताह में शुरू की गई है, जिससे व्यापारियों को भी काफी फायदा हुआ है। साथ ही वित्त वर्ष शुरू होने से पहले जीएसटी के किस नियम के तहत टैक्स और रिटर्न देना चाहता है। इसे ऑनलाइन पंजीकृत कराना होगा।