प्रादेशिक
उदयपुर जिले के पलासमा गांव में फांसी लगाकर युवक ने की आत्माहत्या
उदयपुर (कांतिलाल मांडोत) आज के परिपेक्ष्य में बात बात में आग बगुले होकर अपने आवेश को प्रकट करते है।क्रोध की अग्नि में स्वयं को जला देते है।क्रोध मनुष्य का एक क्षणिक पागलपन है।युवा उस पागलपन का शिकार हो रहै है।व्यक्ति का धैर्य सम्बल पर नही टिका होने से समाज मे हत्या और आत्महत्या की घटना बढ़ रही है।चिंताग्रस्त व्यक्ति मानसिक सन्तुलन खो देता है और मौत को गले लगा देता है।यह समाज के लिए घातक है।
उदयपुर जिले के गोगुन्दा तहसील में रात को फांसी लगाकर एक युवक ने आत्महत्या कर दी।हंसराज ने मानसिक परेशानी के चलते आत्महत्या कर दी।सुबह परिजन उठे तो शव फंदे से लटका मिला।मृतक के स्वजनों ने सायरा पुलिस को सूचना दी।स्वजनों के बयान दर्ज किए।सायरा थाना के हेड कांस्टेबल भेरूसिंह ने बताया कि पलासमा निवासी हंसराज़ (28) कालूराम गमेती ने रात को फांसी लगाकर आत्महत्या कर दी।
हंसराज मानसिक विकृति से पीड़ित था।हंसराज का परिवार सो गया उसके बाद देर रात को घर मे छत पर हुक लगाकर फांसी लगा दी।परिजन ने सुबह शव को लटकते हुए देखा। सायरा थाना पुलिस मौके पर जाकर परिजनों से पूछताछ की गई।परिजनों के आधार पर सायरा पुलिस ने केस दर्ज कर लिया है।शव को सायरा मोर्चरी पर रखवाया गया।शव का पोस्टमार्टम कर शव परिजनों को सौंप दिया है।पुलिस जांच में जुट गई है।