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कोरोनोकाल में सायरा पुलिस बनी मिसाल, महामारी के खिलाफ बनाया हथियार

उदयपुर (कांतिलाल मांडोत)।उदयपुर जिले के गोगुन्दा तहसील में भी कोरोना का संकट बरकरार था। गोगुन्दा के सायरा थाने की पुलिस ने हर मोड़ पर डटकर मुकाबला किया। नतीजा यह निकला कि खाकी की छवि को पूरी तरह से बदल दिया। कोरोनोकाल में सायरा पुलिस का जो चेहरा दिखा,वो सेवा से जुड़ा हुआ था। बेसहारा लोगो से जुड़ा हुआ था।समर्पण से जुड़ा हुआ था।सेवा से जुड़ा हुआ था।

सायरा पुलिस के पुलिसकर्मियों ने अपनी जान की परवाह किए बिना हर समय फील्ड में रहकर लोगो के जीवन को सुरक्षित करने की कवायद शुरू की थी। सुबह से रात तक अपने घरों से दूर रहकर पुलिस ने सेवा दी है यह योगदान जनता कभी भूल नही पाएगी। हर समय कर्फ्यू के दौरान हर गांव की पेट्रोलिंग और लोगों को जागरूक कर महामारी से बचने के पुलिस गुर सिखाती नजर आई थी। पुलिस की सक्रियता से गांवो में बीमारी तो फैली लेकिन अपवाद को छोड़कर एक भी मौत नही हुई ।

इस बार दूसरी लहर ज्यादा घातक सिद्ध हुई,लेकिन पुलिस की सेवाभाव वाले इरादे से उससे भी ज्यादा समर्पित रहे। पुलिस का मिशन और मजबूती से काम आया। जिससे लोगो को बहुत फायदा हुआ। इस उपलक्ष में मानवाधिकार सुरक्षा परिषद के राष्ट्रीय सचिव कांतिलाल पालीवाल मय टीम ने सायरा थाना के पुलिसकर्मियों और अधिकारियों को कोरोना काल के दौरान अपनी जान जोखिम में डाल कर कोरोना वॉरियर्स के रूप में मेहनत और लगन से अपनी ड्यूटी निभाई उन सभी अधिकारियों को प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया। इस अवसर पर थानाधिकारी सहित आला अधिकारी उपस्थित रहे।

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