सूरत

भाई को पुलिस ने चोरी की आशंका में पकड़ लिया तो बहन भाई को छुड़ाने महिला वकील के पास पहुंची

बच्ची की बात सुनकर महिला वकील ने भी फीस लिए बिना बच्ची के भाई को बाल सुधार गृह से मुक्त कराने की प्रक्रिया शुरू की

सूरत। अक्सर फिल्मो में कई किस्से दिल को छू जाते है, लेकिन रीयल लाइफ में भी एक ऐसा ही किस्सा सामने आया है। सिग्नल पर भीख मांगकर अपना व भाई का गुजारा करने वाली बच्ची पर उस वक्त मुसीबत का पहाड टूट पड़ा जब उसके भाई को चोरी के मामले में पुलिस ने हिरासत में ले कर बाल सुधारगृह में भेज दिया। भाई को छुड़वाने के लिए बच्ची के पास पैसे नहीं थे। ऐसे में उसके सामने एक ही सवाल था कि वह जाए तो कहा जाए।

तब यह बच्ची केवल नाम के सहारे एक महिला एडवोकेट के कार्यालय पहुंची। क्योंकि यह बच्ची रोजाना ट्रैफिक पोइन्ट पर खडी होकर भीख मांगती थी, तब वह महिला एडवोकेट अपने कार्यालय से घर जाते समय इस बच्ची को कभी पैसे तो कभी खाना देती थी। इसलिए बच्ची महिला एडवोकेट के पास पहुंची और आपबीती बताई। फिलहाल एडवोकेट बिना फीस लिए बच्ची के भाई को मुक्त करवाने की प्रक्रिया शुरू की है।

यह कहानी किसी फिल्म की नहीं है लेकिन कहानी किसी फिल्म से कम भी नहीं है। अठवागेट स्थित चौपाटी पोइन्ट पर खड़े होकर भाई बहन अपने पेट की आग बुझाने के लिए भीख मांगते है, उसी दौरान अधिवक्ता सोनल शर्मा रोजाना अपने कर्यालय से घर जाती थी, तब पोइन्ट पर उनकी नजर भीख मांग रही बच्ची की तरफ पड़ी, इस लिए उन्होने अपनी कार साइड पर पार्क कर बच्ची को अपने पास बुलाया। बच्ची के हालत देख कर उसे खाने के लिए पैसे देकर चली गई।

इसी तरह रोजाना यह भिक्षुक बच्ची महिला एडवोकेट को घर जाते समय उन्हें मिलती थी। इस लिए उसे कभी पैसे तो कभी खाना खिलाती थी। बच्ची केवल इतना जानती थी की मुझे खाने खिलाने वाली महिला एडवोकेट है और उनका नाम सोनल शर्मा है। कुछ समय बाद भीख मांगने वाले भाई बहन मुसीबत में फंस गए। बच्ची के भाई को पुलिस ने चोरी की आशंका में पकड़ लिया था। ऐसे में बच्ची जाए तो कहा जाए, तब यह महिला एडवोकेट के कार्यालय पहुंची। बच्ची को देखकर कार्यालय में मौजूद जूनियर एडवोकेट दंग रह गए और पूछताछ करने पर उसने बताया कि मुझे सोनल बहन से मिलना है, और उसकी मुलाकात करवाई।

उसके बाद बच्ची ने एडवोकेट सोनल शर्मा को अपनी आपबीती बताई। बच्ची की बात सुनकर महिला वकील की आंखे भर आईं। उन्होंने बच्ची को आश्वस्त किया कि वह फीस लिए बिना उसके भाई को बाल सुधार गृह से मुक्त कराएगी। एडवोकेट सोनल शर्मा ने बताया कि उन्होंने बच्ची के भाई को मुक्त कराने कानूनी प्रक्रिया शुरू कर दी है।

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