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जी 20 के घोषणा पत्र से भारत एवं दुनिया के एसएमई एवं व्यापारियों को मिलेगा बड़ा प्रोत्साहन : कैट

नये इकोनॉमिक कॉरिडोर के बनने से न केवल व्यापार में वृद्धि होगी बल्कि डिजिटल इकॉनमी का होगा बड़ा विस्तार

कल दिल्ली में संपन्न जी 20 शिखर सम्मेलन को ऐतिहासिक आयोजन बताते हुए कन्फ़ेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स ( कैट) ने प्रधानमंत्री  नरेंद्र मोदी के नेतृत्व को करिश्माई की संज्ञा देते हुए कहा की इस सम्मेलन में सर्वसम्मति से जारी नई दिल्ली घोषणा पत्र भारत ही नहीं बल्कि दुनिया भर में छोटे व्यापारियों एवं लघु उद्योगों के विस्तार में एक मील का पत्थर बनेगा और व्यापार सहित डिजिटल इकॉनमी को एक नई गति प्रदान करेगा। कैट के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल ने उम्मीद जताई है की जी 20 के घोषणा पत्र के अनुरूप जो नीतियाँ बनेंगी उससे निश्चित रूप से भारत के निर्यात व्यापार में बड़ी वृद्धि होने की संभावना दिखाई पड़ती है ।

कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष  बी सी भरतिया एवं राष्ट्रीय महामंत्री  प्रवीन खंडेलवाल ने यह भी कहा की इंडिया मिडल ईस्ट यूरोप इकोनॉमिक कॉरिडोर को बनाने को घोषणा से अब भारतीय व्यापारियों को कम समय में सीधे अपना सामान मिडल ईस्ट, यूरोप तथा अन्य देशों को भेजने में सुविधा होगी। उन्होंने उम्मीद जताई है की यह कॉरिडोर बनाने पर शीघ्र काम शुरू होगा तथा चीन के बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव कॉरिडोर से ज़्यादा असरदार साबित होगा क्योंकि इस कॉरिडोर से रेल, सड़क, बंदरगाह, संचार तथा जल केबल नेटवर्क पूरी तरह से एक ग्रिड के रूप में जुड़ेगा।

भरतिया एवं  खंडेलवाल ने कहा की प्रधानमंत्री श्री मोदी ने अपनी दूरदृष्टि से विश्व के एक बड़े एवं असरदार हिस्से को एक कर दिया है जिससे जहां अंतर्राष्ट्रीय व्यापार में भारत की हिस्सेदारी बड़ेगी वहीं दुनिया भर में छोटे व्यापारियों एवं लघु उद्यमियों को व्यापार के बड़े अवसर मिलेंगे। उन्होंने कहा की भारत के एफ़एमसीजी, खिलौने, कंप्यूटर तकनीक एवं उपकरण, फ़ैशन गारमेंट, साड़ी, वस्त्र, हस्तशिल्प, कंज्यूमर डयूरेबल्स। फ़र्निशिंग आइटम्स, जेम एंड ज्वैलरी, इलेक्ट्रॉनिक आइटम्स आदि के निर्यात व्यापार में वृद्धि होने की आशा है।

भरतिया एवं  खंडेलवाल ने कहा की नई दिल्ली घोषणा पत्र में डिजिटल सेवाओं और डिजिटल सार्वजनिक बुनियादी ढांचे में सुधार की बात कही गई है वहीं टिकाऊ और समावेशी विकास को बढ़ावा देने के लिए डिजिटल परिवर्तन के अवसरों का लाभ उठाये जाने की भी ज़ोरदार वकालत की गई है । यह भी कहा गया है की विकास को गति देने और स्थायी आर्थिक परिवर्तन लाने में निजी क्षेत्र की भूमिका बेहद महत्वपूर्ण है जिसके लिए स्टार्ट-अप और एमएसएमई को बढ़ावा दिया जाना बहुत ज़रूरी हैं जिससे वे नवाचार को बढ़ावा देकर और रोजगार पैदा करके सामाजिक-आर्थिक परिवर्तन का नया अध्याय लिख सकेंगे।

घोषणा पत्र मे स्टार्ट-अप 20 एंगेजमेंट ग्रुप की स्थापना और इसके जारी रहने का संकल्प उस दिशा में बड़ा कदम है। डब्ल्यूटीओ को मूल में रखते हुए नियम-आधारित, गैर-भेदभावपूर्ण, निष्पक्ष, खुला, समावेशी, न्यायसंगत, टिकाऊ और पारदर्शी बहुपक्षीय व्यापार प्रणाली अपरिहार्य है और भारत सहित सभी देश ऐसी नीतियों का समर्थन करेंगे जो व्यापार और निवेश को सभी के लिए विकास और समृद्धि के इंजन के रूप में काम करने में सक्षम बनाएगी। यह संकल्प विदेशी कंपनियों द्वारा भारत अथवा किसी भी देश के व्यापार पर कब्ज़ा करने की कुत्सित प्रवृति को रोकेगा।

भरतिया एवं श्री खंडेलवाल ने कहा की संरक्षणवाद और बाजार को विकृत करने वाली प्रथाओं को हतोत्साहित करके समान अवसर और निष्पक्ष प्रतिस्पर्धा सुनिश्चित करना, सभी के लिए अनुकूल व्यापार और निवेश वातावरण को बढ़ावा देना। एमएसएमई, विशेष रूप से विकासशील देशों में, सूचना तक पहुंच के संबंध में चुनौतियों को पहचानें और इस प्रकार, अंतरराष्ट्रीय व्यापार में एमएसएमई के एकीकरण को बढ़ावा देने के लिए एमएसएमई की सूचना तक पहुंच बढ़ाने का संकल्प छोटे व्यापारियों तथा लघु उद्योगों के लिए संजीवनी का काम करेगा।

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